बेसन के लड्डू उत्तर भारत की एक सदाबहार और बहुत ही लोकप्रिय मिठाई है. बेसन के लड्डू बनाना बहुत आसान है लेकिन थोड़ा समय लगता है बनाने में. besan के लड्डू बनाने के लिए लड्डू बेसन जिसे दरदरा बेसन कहते हैं वो उपयुक्त रहता है लेकिन अगर आपको मोटा बेसन या दरदरा बेसन न मिले तो आप बेसन में थोड़ी सी सूजी भी मिला सकते हैं. बेसन को क्योंकि खालिस घी में भूना जाता है तो इन लड्डू में कैलोरी तो हैं हीं इसीलिए आप लड्डू तो जरूर खाएं लेकिन साथ में वर्जिश भी करें जिससे सेहत दुरुस्त रहे. बेसन के लड्डू को आप बनाकर महीने भर भी रखें तो यह खराब नही होते हैं. तो बनाइए बेसन के लड्डू जब हो थोड़ी सी फ़ुर्सत, और हमें अपने सुझाव और राय जरूर लिखें. शुभकामनाओं के साथ, शुचि
तैयारी का समय : 5 मिनटलड्डू बनाने के लिए दरदरा बेसन बहुत अच्छा रहता है और आमतौर पर बाज़ार में अलग से मिल जाता है, लेकिन अगर आपको लड्डू वाला बेसन नही मिल रहा है तो परेशान न हों. 1 कप बेसन में 1 बड़ा चम्मच सूजी मिलाकर भूनें. लड्डू उतने ही स्वादिष्ट बनेगें.
भारत के बाहर ज़्यादातर देशों में बहुत महीन शक्कर मिलती है, लेकिन अगर आप भारत में रहती हैं तो शक्कर को पीस कर ही डालें. अगर आप चाहें तो बूरा का भी इस्तेमाल कर सकते हैं.
आटे के लड्डू संपूर्ण भारत वर्ष में बहुत प्रसिद्ध हैं. लड्डू बनाने की भी अलग अलग विधियाँ होती हैं. यह लड्डू बनाने की एक पारंपरिक उत्तर भारतीय शैली है. इसमें मैने गोंद भी डाली है जिससे ना केवल लड्डू का स्वाद बढ़ता है बल्कि गोंद सेहत के लिए भी अच्छी होती है ख़ासतौर पर जाड़े में. तो इस बार दीवाली पर बनाइए आटे के लड्डू....
चूरमा गेहूँ के आटे से बनाई जाने वाली एक खास भारतीय मिठाई है जो कि राजस्थान की ख़ासियत है. चूरमा को खालिस घी में बनाया जाता है तो आप इसकी खुश्बू और स्वाद का अंदाज़ा खुद ही लगा सकते हैं. चूरमा को राजस्थान में दाल-बाटी के साथ परोसा जाता है......
अलसी, काला तिल, पोस्ता दाना, गोंद, बादाम इत्यादि पौष्टिक तत्वों से बनाए गये यह लड्डू अत्यंत फ़ायदेमंद होते हैं. इन लड्डू में फाइबर, ओमेगा 3 फैटी एसिड, कई प्रकार के खनिज और विटामिन भी हैं. आलसी के लड्डू बनाने में थोड़ा समय तो लगता ही है इसलिए आप फ़ुर्सत से बनाएँ यह लड्डू और लिखना ना भूलें अपनी राय/ सुझाव.....
सकट चौथ और संक्रांति के अवसर पर कई प्रकार के लड्डू, तिल के व्यंजन, गुड, गोंद, मूँगफली इत्यादि के व्यंजाओं को बनाने की परंपरा है. शायद यह परंपरा इस लिए भी है क्योंकि यह जाड़े के त्यौहार हैं और तिल, गुड़, मूँगफली, गोंद इत्यादि पौष्टिक और गर्म तासीर की सामग्री हैं. तो चलिए इस आने वाले त्यौहार की तैयारी में बनाते हैं यह पौष्टिक लड्डू. ...